

अगले माह मई में दो धर्म के प्रमुख त्योहार इस बार एक साथ आ रहे हैं. 3 साल बाद हिंदुओं का अधिक मास पुरुषोत्तम मास आ रहा है तो मुस्लिमों का पवित्र रमजान माह गत वर्ष के मुकाबले इस वर्ष 11 दिन पहले शुरू हो जाएगा.
पूजा व इबादत के इस संयोग में दोनों धर्म के लोग एक साथ पर्व मनाएंगे. अधिक मास में मंदिरों, आश्रमों में लोग पूजा पाठ, जप-अनुष्ठान और कथा-प्रवचन करेंगे तो रमजान में मस्जिदों में नमाज व इबादत के साथ रोजे रखकर दुआ मांगने का दौर चलेगा. अधिक मास 16 मई से शुरू होकर 13 जून तक चलेगा. रमजान माह चांद दिखने पर 17 मई से शुरू होगा. आचार्य करुणाशंकर जोशी ने बताया अधिक मास हर 3 साल में एक बार आता है. इसके पहले वर्ष 2015 में आषाढ़ मास में अधिक मास आया था. इस वर्ष ज्येष्ठ मास में अधिक मास रहेगा. रमजान माह की शुरुआत चांद दिखने के साथ मानी जाती है.
कुछ वर्ष के अंतराल में माह शुरू होने के दिन कभी घटते कभी बढ़ते रहते हैं. इस बार 11 दिन पहले यानी 17 मई को शुरू होगा. यदि 16 मई की रात चांद दिखता है तो मस्जिदों में तरावीह की नमाज अदा कर रमजान शुरू होने की घोषणा होगी. चांद नहीं दिखा तो पर्व एक दिन बाद माना जाएगा. 17 मई से रोजे शुरू हो जाएंगे. चांद के आधार पर पर्व की शुरुआत भले ही एक-दो दिन आगे-पीछे हो सकती है लेकिन संयोग से दोनों त्योहार एक माह तक चलते हैं.