जानिये किन लोगों को होती है मोक्ष की प्राप्ति


धर्म शास्त्रों की मानें तो मनुष्य जीवन का एकमात्र उद्देश्य होना चाहिए “मोक्ष” की प्राप्ति। इंसान अपने जीवन में जो कुछ भी करे, उसका एकमात्र ध्येय यही होना चाहिए कि वह किस तरह जीवन-मरण के चक्रों से मुक्ति पाकर मोक्ष को प्राप्त कर सकता है।

मोह-माया

मोक्ष की प्राप्ति के लिए मोह-माया के बंधनों से मुक्त होने की शर्त सबसे प्रमुख मानी गई है, लेकिन मनुष्य इसके उलट जन्म के साथ ही इस चकाचौंध भरी दुनिया में खोकर और भौतिक रिश्तों में खोकर ईश्वर के सानिध्य से दूरी बना लेता है।

नारद पुराण

नारद पुराण के अनुसार एक बार राजा भागीरथ ने यमराज से मृत्यु के बाद आत्मा का क्या होता है, इससे संबंधित सवाल किया था। उन्हें यह जानकर काफी आश्चर्य हुआ था कि मृत्यु के बाद भी आत्मा को शांति नहीं मिलती, वह जीवन-मृत्यु के चक्र में उलझ जाती है।

यमराज

यमराज ने उन्हें बताया था कि अगर कोई व्यक्ति वाकई मोक्ष की कामना करता है तो उसे अपने मनुष्य जीवन में बहुत से कर्म करने और बहुत से कर्म त्यागने पड़ते हैं। मनुष्य जीवन में कड़ा तप करने के बाद ही मृत्यु के पश्चात मोक्ष की प्राप्ति संभव है।

मौत के देवता

मौत के देवता, यमराज और राजा भागीरथ के बीच हुआ ये संवाद, बहुत ही खूबसूरती के साथ नारद पुराण में उल्लिखित है। यमराज ने स्पष्ट रूप से यह बताया था कि किस तरह मनुष्य कैसे बार-बार जन्म लेने की झंझट से मुक्ति पाकर मोक्ष की प्राप्ति कर सकता है।

नारद पुराण

नारद पुराण के अनुसार कुछ लोग हैं जिनके लिए मोक्ष की प्राप्ति करना सरल है। वे आसानी से अपने बुरे कर्मों से मुक्ति पाकर जन्म- मरण के चक्र से बाहर आ सकते हैं।

विष्णु पुराण

विष्णु पुराण के अनुसार जो व्यक्ति एकादशी के दिन भगवान विष्णु को फूल अर्पित करता है उसके पिछले 10,000 जन्मों के बुरे कर्मों का नाश होता है।

भगवान शिव

जो भक्त भगवान शिव और विष्णु के समक्ष प्रतिदिन दीप प्रज्वलित करता है उसे गंगा स्नान के बराबर पुण्य फल प्राप्त होता है। अपनी सबसे बड़ी चाहत का दान करने या उसे त्याग देने वाला व्यक्ति अवश्य ही मोक्ष को प्राप्त करता है।

तुलसी की पत्तियां

भगवान विष्णु को तुलसी की पत्तियां अत्यंत प्रिय हैं। जो व्यक्ति भगवान विष्णु के साथ-साथ तुलसी की भी पूजा करते हैं उन्हें अवश्य ही मोक्ष की प्राप्ति होती है।

नारद पुराण

तो अगर आप भी जीवन की समस्याओं से मुक्ति पाकर मोक्ष की कामना करते हैं तो उन सभी बातों का ध्यान आपको रखना चाहिए जो नारद पुराण में उल्लिखित है। इसके अलावा तन-मन से किसी का बुरा ना करना और दूसरों के लिए सहानुभूति रखना भी बहुत उपयोगी है।