

रूस के सोची में चल रहे शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की सालाना बैठक में विदेश मंत्री सुषमा स्वराज भारत का प्रतिनिधित्व कर रही हैं। हाल ही में सुषमा ने एससीओ की बैठक में आतंकवाद से जुडी गतिविधियों की कडी निंदा करते हुए बताया कि आतंकवाद से जुडी खुफिया जानकारियों को साझा कर सदस्य देश बेहतर तरीकों को अपनाकर आतंकवाद से निपट सकते हैं। सुषमा ने कहा कि ‘आतंकवाद को किसी खास धर्म या समुदाय से जोड़ा जाना ठीक बात नहीं है। आतंकवाद किसी भी धर्म, राष्ट्रीयता, सभ्यता या जातीय समूह से ना तो जोड़ा जा सकता है और ना ही जोड़ा जाना चाहिए, ऐसा किया जाना पूरे मानवता पर किया जाने वाला एक अपराध है।’
विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने एससीओ की सभा को संबोधित करते हुए कहा कि “हम अपने समाजों के बीच सहयोग और भरोसे को बढ़ाना चाहते हैं और इसके लिए भारत सभी देशों से आग्रह करता है कि इंटेलिजेंस शेयरिंग में आपसी सहयोग, अच्छी तकनीक और प्रैक्टिस, आपसी कानूनी सहायता, प्रत्यर्पण व्यवस्था और अन्य उपायों के बीच तालमेल बैठाना चाहिए। इससे आतंकवाद का मुकाबला करने के लिए हम सभी को एक साथ खड़ा होना पडेगा।” हालांकि जब सुषमा आतंकवाद का जिक्र कर रही थी, तब वहां पाकिस्तानी पीएम शाहिद खकान अब्बास भी मौजूद थे।
आपको बता दें कि 30 नवंबर और 1 दिसंबर को रूस के सोची में शंघाई सहयोग संगठन का वार्षिक सम्मेलन आयोजित किया गया। जिसके अंतर्गत इसी साल जून में भारत और पाकिस्तान को पर्मानेंट मैंबरशिप प्राप्त हुई थी। स्थाई सदस्यता पाने के बाद भारत और पाकिस्तान इस सम्मेलन में पहली बार भाग ले रहे हैं।
जहां भारत की तरफ से विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और पीएम शाहिद खकान अब्बास पाकिस्तान की तरफ से प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। एससीओ की बैठक के दौरान सुषमा स्वराज ने स्थाई सदस्यता के लिए पाकिस्तानी पीएम को भी बधाई दी।