तनेराव सिंह
जैसलमेर

एशिया की सबसे बड़ी फील्ड फायरिंग रेंज में मंगलवार को तीनों सेनाओं ने भारत शक्ति युद्धाभ्यास के जरिए देश में बने हथियारों की ताकत दिखाई। इस युद्धाभ्यास को देखने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी जैसलमेर जिले के पोकरण फील्ड फायरिंग रेंज में पहुंचे। भारत में बने हथियारों की ताकत देखकर उन्होंने कहा कि ये नए भारत का आह्वान है। उन्होंने कहा कि डिफेंस के लिए पिछले दस साल में 6 लाख करोड़ के ऑर्डर भारतीय कंपनियों को दिए गए हैं। मोदी ने कहा- कुछ दिन पहले ही कैबिनेट ने फैसला लिया है कि पांचवी पीढ़ी के लड़ाकू विमान भी हम भारत में ही डिजाइन, डेवलप और मैन्युफैक्चर करने वाले हैं। भविष्य में भारत का डिफेंस सेक्टर बहुत बड़ा होने वाला है।

ड्रोन ने लोकेशन बताई, पिनाका ने 18 किमी दूर ठिकाने तबाह किए, वायु सेना ने थल सेना को हवाई हमलों से बचाया।

युद्धाभ्यास के दौरान भारत में बने ड्रोन द्वारा दुश्मनों के बारे में सूचनाएं इकट्ठा की गईं। सर्विलेंस सैटेलाइट, सर्विलेंस ड्रोन, सर्वे ड्रोन ने दुश्मन की पिन पॉइंट लोकेशन की जानकारी सेना के हेडक्वार्टर भेजी। इस सूचना के आधार पर हेडक्वार्टर ने पिनाका मिसाइल और लॉन्ग रेंज रॉकेट लॉन्चर सिस्टम को हमले का ऑर्डर दिया।
इन रॉकेट लॉन्चर सिस्टम ने टारगेट लॉक कर 18 किमी दूर दुश्मन के कमांड एंड कट्रोल हेडक्वार्टर को बर्बाद कर दिया। वहीं 6 पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट सिस्टम ने बचे हुए दस्तों को नेस्तनाबूद कर दिया। पिनाक भगवान शिव के धनुष का नाम है, जिसे उन्होंने ऋषि परशुराम को दिया था। वायु सेना ने दुश्मन के एयर बेस और महत्वपूर्ण कम्युनिकेशन सेंटर को फायर से बर्बाद कर दिया। ऑफेंसिव काउंटर एयर ऑपरेशन की वजह से फेवरेबल एयर सिचुएशन हासिल की गई, इससे थल सेना के ऊपर हवाई हमले का खतरा कम कर दिया गया।

मोदी ने कहा कि जिन्होंने देश पर दशकों तक शासन किया, उन्होंने देश की सुरक्षा पर ध्यान नहीं दिया। पहला घोटाला ही सेना की खरीदी में किया। 2014 में रक्षा सौदों में घोटालों की चर्चा होती थी। सेना के पास गोला-बारूद नहीं होने की चिंताएं सामने आती थीं। उन्होंने हमारी ऑर्डनेंस फैक्ट्री को बर्बाद कर दिया। हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड को बर्बाद कर दिया, हमने उसे सबसे ज्यादा मुनाफा देने वाली कंपनी बना दिया। वे वीर बलिदानों के लिए एक राष्ट्रीय स्मारक भी नहीं बनवा पाए। पहले की सरकार हमारी सीमाओं पर आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने से डरती थी, आज एक से एक रोड बन रहे हैं।

युद्धाभ्यास के साक्षी बने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री मोदी ने किया संबोधित

प्रधानमंत्री मोदी ने कार्यक्रम को संबोधित किया उन्होंने कहा कि आज हमने अपनी तीनों सेनाओं का पराक्रम देखा, जो अद्भुत है आज स्वदेशीकरण से सशक्तीकरण का दम भी देख रहे : पीएम मोदी ने कहा कि आसमान में गर्जना, जमीन पर जांबाजी के साथ चारों तरफ गूंजता विजय घोष नए भारत का आह्वान है। आज हमारा पोकरण एक बार फिर भारत की आत्मनिर्भरता, भारत का आत्मविश्वास और आत्मगौरव की त्रिवेणी का साक्षी बना है। यह पोकरण की धरती भारत की परमाणु शक्ति का साक्षी रहा है। साथ ही हम आज स्वदेशीकरण से सशक्तीकरण का दम भी देख रहे हैं, आज भारत शक्ति का उत्सव राजस्थान की धरती पर हो रहा है, लेकिन इसकी गूंज सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में सुनाई दे रही है। पीएम ने कहा कि कल ही भारत ने एमआईआरवी आधुनिक टेक्नोलॉजी से लैस लम्बी दूरी की क्षमता वाली अग्नि-5 मिसाइल का परीक्षण किया है. दुनिया के बहुत ही कम देशों के पास इस तरह की आधुनिक टेक्नोलॉजी और क्षमता है। यह सैन्य क्षेत्र में आत्मनिर्भर भारत की एक ओर बड़ी उड़ान है। विकसित भारत की कल्पना आत्मनिर्भर भारत के बिना संभव ही नहीं है। भारत को विकसित होना है तो हमें दूसरों पर अपनी निर्भरता को कम करना ही होगा। आज भारत हर क्षेत्र में आत्मनिर्भरता पर बल दे रहा है, आज का आयोजन भी इसी संकल्प का हिस्सा है। आज मेक इन इंडिया की सफलता हमारे सामने है। हमारे तोप, टैंक, लड़ाकू जहाज, हेलीकॉप्टर मिसाइल सिस्टम यह सभी भारत की शक्ति है। प्रधानमंत्री ने भारतीय सेना के जवानों की हौंसला अफजाई भी की इस दौरान पीएम मोदी ने वर्ष 2014 के बाद सैन्य क्षेत्र में हुए विकास कार्यों के साथ कई उपलब्धियों का भी बखान किया अपने संबोधन के दौरान उन्होंने कांग्रेस का नाम तो नहीं लिया, लेकिन कांग्रेस सरकार पर जमकर निशाना साधा। पीएम मोदी ने कहा कि आजादी के बाद से एक दुर्भाग्य यह रहा कि जिन्होंने दशकों तक देश पर शासन किया, वे देश की सुरक्षा को लेकर गंभीर नहीं रहे। हालत यह थी कि आजादी के बाद देश का पहला घोटाला सेना में खरीद के दौरान ही हुआ. उन्होंने जानबूझकर भारत को रक्षा जरूरत के लिए विदेशियों पर निर्भर रखा इस अवसर पर थल सेनाध्यक्ष ने स्वागत भाषण दिया। रेंज में सेना की एक जीप पर प्रधानमंत्री भी सवार हुए। इस युद्धाभ्यास में भारत में बने हथियारों की ताकत दिखाई दी। इस अभ्यास में भारत में निर्मित विभिन्न हथियारों और लड़ाकू विमानों के साथ मिसाइलों से फायर कर भारतीय सेना ने अपने युद्ध कौशल व पराक्रम का जीवंत प्रदर्शन किया। भारतीय थल, जल और वायु सेनाओं की ओर से प्रधानमंत्री की मौजूदगी में किए गए इस अभ्यास में ऐसे कई हथियारों का प्रदर्शन किया गया, जिनसे पहली बार में ही फायरिंग कर दुश्मन के काल्पनिक ठिकानों को नेस्तनाबूद किया गया। इस अभ्यास में ध्रुव हेलीकॉप्टर भारतीय सेना के कमांडो को दुश्मन के ठिकानों तक ले गया और वहां कमांडो ने दुश्मन की छावनी में घुसकर आतंकियों का खात्मा किया। इस दौरान रक्षा अधिकारियों ने कहा कि यह युद्धाभ्यास स्वदेशी हथियारों की मारक क्षमता और रक्षा बलों के तीनों अंगों की परिचालन ततपरता को प्रदर्शित करेगा। इस अभ्यास के दौरान भारत में निर्मित विभिन्न हथियार प्रणालियों, जिनमें अर्जुन टैंक, धनुष होवित्जर तेजस लड़ाकू विमान के साथ ही एएलएच ध्रुव हेलीकॉप्टर ने अपनी मारक क्षमता का प्रदर्शन किया। इसके अलावा नौसेना के मार्कोस, वायु सेना के गरुड़ और थल सेना की स्पेशल फोर्सेस ने दुश्मन के इलाके में घुसकर अपने ऑपरेशन को अंजाम दिया। इसके साथ ही आसमान से ड्रोन और वायुसेना की भी इस युद्धाभ्यास में पूरी पूरी मदद ली गई, ताकि कोई भी युद्व के दौरान जवानों पर हमला नहीं कर सके इस दौरान पीएम के साथ केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय कृषि राज्यमंत्री कैलाश चौधरी, केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेन्द्रसिंह शेखावत, राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान और आर्मी चीफ जनरल मनोज पांडे, एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी, नेवी चीफ एडमिरल हरि कुमार के साथ सेना के अन्य अधिकारी व कई लोग भी युद्धाभ्यास के दौरान उपस्थित रहे।